खाने को नहीं दाने, लेकिन करने चले मदद!

पाकिस्तान खुद तो कंगाली के दौर से गुजर रहा है। दाने-दाने को मोहताज वहां की आवाम खाने के लिए तरस रही है। उसके पास न पैसे हैं और ना ही लोगों को दो जून की रोटी नसीब हो रही है। वहीं दूसरी तरफ पाकिस्तान के प्रधानमंत्री अपने देश की तारीफ करते थक नहीं रहे हैं। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने दावा किया है कि एक अज्ञात पाकिस्तानी ने तुर्की-सीरिया भूकंप के पीड़ितों के लिए 30 मिलियन अमरीकी डालर का दान दिया है। पाकिस्तान के पीएम ने कहा कि पाकिस्तानी नागरिक ने अमेरिका में तुर्की के दूतावास में जाकर चंदा दिया।
शरीफ ने ट्वीट करते हुए कहा कि एक गुमनाम पाकिस्तानी के उदाहरण से बहुत प्रभावित हुआ, जो अमेरिका में तुर्की दूतावास में गया और तुर्की और सीरिया में भूकंप पीड़ितों के लिए 30 मिलियन डॉलर का दान दिया। ये परोपकार के ऐसे शानदार कार्य हैं जो मानवता को दुर्गम प्रतीत होने वाली बाधाओं पर विजय प्राप्त करने में सक्षम बनाते हैं।

पीएम शरीफ के ट्वीट के कुछ ही देर बाद कई पाकिस्तानी ट्विटर पर आ गए और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री को ट्रोल करना शुरू कर दिया। लेखक आयशा सिद्दीका ने ट्वीट करते हुए कहा कि दिलचस्प बात यह है कि ये परोपकारी व्यक्ति चुपचाप पाकिस्तानी दूतावास में नहीं गया और इस पैसे को बाढ़ राहत के लिए इस्तेमाल किया।

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